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आपातकाल में डटे शासकीय अमलों के सहयोग में जुटा रेडक्रॉस का अमला

शहर के मुहल्ले हों या गांव की गलियां चहों ओर पसरे कोरोना के संक्रामक सन्नाटे के बीच नियंत्रण की अलख जलाने वाले प्रशासन व पुलिस के मुस्तैद अफसरों व जवानों के लिए सैनिटाइजर और मास्क लिए, बैक-अप सपोर्ट दे रही है रेडक्रॉस की टीम

महासमुंद 28 मार्च2020/ कोई भी जंग एकेले नहीं जीती जाती, इसलिए कोरोना वायरस के खिलाफ लड़ाई जीतने जिले में अपनाया जा रहा है आपसी सहयोग और समन्यवय वाला टीम वर्क का फॉर्मूला। इन दिनों जहां, एक ओर प्रशासन और पुलिस के अमले के जिम्मेदार अफसर और कर्मठ कर्मचारी शहर और गांव के संवेदनशील और जरूरी ठिकानों पर बेखौफ डटे रह कर नियंत्रण बनाने के महत्वपूर्ण कर्तव्य में जुटे हुए हैं। वहीं, कलेक्टर श्री सुनील कुमार जैन के निर्देशन और सिविल सर्जन सह मुख्य अस्पताल अधीक्षक डॉ आरके परदल के मार्गदर्शन में रेडका्रॅस सोसायटी के जुझारू सदस्य भी उनकी सेवा में कमर कस कर जुट गए हैं।

इस ओर देखा गया कि शनिवार 23 मार्च 2020 को जिला कार्यक्रम प्रबंधक श्री संदीप ताम्रकार की अगुआई व रेडक्रॉस सोसायटी के सक्रिय जिला संगठक श्री अशोक गिरी गोस्वामी के समन्वय से शासकीय दफ्तरों में क्रमशः जिलाध्यक्ष कार्यालय भवन, तहसील कार्यालय सहित आपातकालीन सेवाएं प्रदाता विभन्न विभागीय कार्यालयों में उपस्थित कर्मचारियों को सैनिटाइजर एवं मास्क की उपलब्धता बनाई गई। साथ ही रेडक्रॉस सोसायटी के जुझारू सदस्यों में श्री बीआर देवांगन, श्री प्रमोद कन्नौजे, श्री प्रकाश दास मानिकपुरी श्री कुणाल दास मानिकपुरी श्री उमेश चक्रधारी जयंत गायकवाड़ एवं परस राम बंजारे सहित उनके संयुक्त दल द्वारा भी शहर के ग्राम खरोरा स्थित जिला चिकित्सालय से लेकर बस स्टैंड, अंबेडकर चौक, स्टेशन रोड, बरौंडा चौक व बीटीआई रोड सहित शहर के तकरीबन दर्जन भर से अधिक संवेदनशील इलाकों में तैनात प्रशानिक अफसरों और पुलिस बल के लिए मौके पर जाकर सैनिटाइजर एवं मास्क वितरित किए गए।

विदित हो कि कोरोना वायरस संक्रमण के मंडराते हुए खतरे को देखते हुए जिला प्रशासन और स्वास्थ्य विभाग ने क्रमशः सुरक्षा, जानकारी व एहतियात के तौर पर अपने अधिकारियों व कर्मचारियों को चौबीसों घंटे सेवाओं पर लगा रखा है। विपरीत परिस्थितियों में समस्या को लेकर गंभीर होकर दायित्व निर्वहन में बारी-बारी बदलती ड्यूटी में काम करने वाले अधिकांश कर्मियों को सांस लेने की फुरसत तक नहीं मिल पा रही है। ऐसे में उनके लिए अपने परिवार तो क्या स्वयं के लिए भी वक्त न निकाल पाना भी लाजमी है। जिसे देखते हुए आला अधिकारियों के समन्वय से आपातकाल में सेवा प्रदाता विभागों के ड्यूटीरत कर्मचारियों के लिए उक्त प्रबंधन उचित समन्वयन का उदाहरण है। जिसे बेहतरीन टीम वर्क के रूप में बैक-अप सपोर्ट की तरह का रिस्पांस मिल रहा है।





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