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पिथौरा : हलफनामा बेअसर, संकुल समन्वयक अन्जय कश्यप फिर कर रहे वरिष्ठ अधिकारियों पर अनर्गल टिप्पणी

संकुल समन्वयक अन्जय कश्यप पर लगे आरोपो की जांच हेतु जिला शिक्षा अधिकारी विजय लहरे 25 जुलाई को मोहगांव स्कूल पहुंचे और विस्तृत जांच की। जांच के दौरान कई अहम बिन्दुओ पर तथ्य सामने आए।पता चला कि अन्जय कश्यप ने पूर्व में 20 नवम्बर 2024 को एक शपथ पत्र( हलफनामा) प्रस्तुत कर यह वचन दिया था कि भविष्य में संकुल समन्वयक के दायित्वो को निष्ठापूर्वक निभाएंगे। इन्होने यह भी उल्लेख किया था कि समस्त शासकीय कार्याे को समय पर पूर्ण करेंगे। किसी भी अधिकारी के विरूद्व टिप्पणी नही करेगें, तथा सभी शिक्षको के साथ सम्मानपूर्वक व्यवहार करेंगे। बैठको में उपस्थित रहेंगे।

इस हलफनामे में महेन्द्र चौधरी अध्यक्ष पिथौरा ब्लाक एवं सुधीर प्रधान प्रान्तीय प्रदेश संयोजक ने गवाह के रूप में दस्तखत किए थे। दोनो ने यह अपेक्षा जताई थी कि अन्जय कश्यप की कार्यशैली में अब सुधार होगा। हालांकि उन्होने यह भी स्पष्ट किया कि वर्तमान में अन्जय के व्यवहार में कोई परिवर्तन हुआ या नही, इसकी उन्हे जानकारी नही है।

जांच में यह तथ्य सामने आया कि हलफनामा देने के बाद भी अन्जय कश्यप की कार्यशैली एवं व्यवहार में कोई सुधार नही आया है। पूर्व में वे बीआरसीसी के विरूद्व टिप्पणी करते रहे है और अब जुलाई माह में बीईओ की पदोन्नति सूची तथा संभागीय संयुक्त संचालको के स्थानातंरण के संदर्भ में भी उन्होने अनुचित टिप्पणी की है। सूत्रो के अनुसार समन्वयक(सीएसी) पिथौरा नामक वाटशप ग्रुप में बसना बीईओ जे.आर. डहरिया और रायपुर संभाग के संयुक्त संचालक के विरूद्व अन्जय कश्यप ने जानबूझकर अपमानजनक व अनर्गल टिप्पणियां की है।

यह कृत्य छत्तीसगढ सिविल सेवा(आचरण) नियम 1965 के नियम 03 का स्पष्ट उल्लंघन माना गया है। जो कि शासकीय सेवको के लिए मर्यादा और अनुशासन का मूलभूत आधार है।


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