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तालाब बना आफत, कचरे के भंडारण के लिए हो रहा उपयोग

सरायपाली. ब्लॉक मुख्यालय से लगभग 6 किमी की दूरी पर स्थित ग्राम गिरसा के बीच बस्ती पर लगभग 50 वर्ष पुराना एक डबरी नुमा तालाब है, जिसका विगत 20-22 वर्षों से सफाई ही नहीं हो रहा है. पूर्व में यहाँ गहरीकरण का कार्य भी हो चुका है, लेकिन बरसात के दिनों में उसकी सफाई नहीं होने से

वह अनुपयोगी हो जाता है. बस्ती के चारों ओर का गंदा पानी उसमें एकत्र होता है, जिससे आस-पास के 10-12 घरों को मच्छर एवं गंदे पानी क बदबू का सामना करना पड़ रहा है.

जानकारी अनुसार गाँव के बीच बस्ती में एक छोटा डबरी नुमा तालाब है, जो कई वर्ष पुराना है. विगत 15 वर्ष पूर्व इसे शासकीय तालाब घोषित किया गया है और शासन के द्वारा तालाब गहरीकरण के लिए इसका चयन भी किया गया. लेकिन तीन सरपंचों का कार्यकाल बीत जाने के बावजूद आज तक किसी सरपंच ने तालाब की सफाई की ओर ध्यान नहीं दिया है.

वर्तमान में यह स्थिति हो गई है कि उक्त तालाब में केवल कचरे का भंडारण किया जा रहा है. यदि तालाब की सफाई कर दिया जाए तो निस्तारी के लिए भी इसका उपयोग किया जा सकेगा. इस तालाब से उछला पानी गाँव के ही निस्तारी तालाब शिव मंदिर तालाब में जाता है. जिससे वह निस्तारी तालाब भी धीरे-धीरे गंदगी में तब्दील होते जा रहा है. ग्रामीणों के लिए यह तालाब मुसीबत बन गया है.

शासन के बिना किसी सहयोग से उसे न तो कोई पाटा जा सकता है और न ही उक्त तालाब में भरे पानी को खाली किया जा सकता है. लेकिन पंचायत के प्रतिनिधि भी इस ओर अनदेखा कर दिए हैं, जिसके चलते उक्त तालाब का उपयोग केवल वाहनों को धोने के लिए किया जा रहा है.

गहरीकरण उपरांत वहाँ पर पचरी का भी निर्माण करवाया गया था, लेकिन उक्त पचरी भी केवल शो-पीस बन कर रह गया है, जिसका आज पर्यंत तक उपयोग नहीं हो पाया है. तालाब के पानी से बदबू आना भी शुरू हो गया है एवं कीड़े-मकोड़े के अलावा साँप, बिच्छू व मच्छर का भी प्रकोप बढ़ गया है. इस समस्या को देखते हुए तालाब के चारों ओर स्थित ग्रामीणों को भी डबरी से परेशानियाँ होने लगी है.

इस संबंध में पंचायत सचिव ज्योति पटेल से सम्पर्क किया गया लेकिन उनसे सम्पर्क नहीं हो सका.




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