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एसबीआई लाइफ ‘थैंक्स-ए-डॉट’ अब पहुँचा कांकेर: छत्तीसगढ़ में ब्रेस्ट हेल्थ पर खुलकर बातचीत की नई शुरुआत

प्रदान एनजीओ के सहयोग से 800 ग्रामीण महिलाओं को मिली ‘हग ऑफ लाइफ’ किट, स्वास्थ्य जागरूकता के नए आयाम

महिलाओं में ब्रेस्ट हेल्थ को लेकर जागरूकता बढ़ाने और ब्रेस्ट कैंसर की शुरुआती पहचान के महत्व को समझाने के लिए, एसबीआई लाइफ इंश्योरेंस ने अपनी पहल “थैंक्स-ए-डॉट” के तहत प्रदान एनजीओ के साथ मिलकर कांकेर, छत्तीसगढ़ में एक जागरूकता सत्र आयोजित किया। इस पहल का उद्देश्य महिलाओं को सरल तरीके से सेल्फ-ब्रेस्ट एग्ज़ाम सिखाना और ऐसे शुरुआती संकेतों के बारे में बताना है, जिनसे ब्रेस्ट कैंसर को समय रहते पहचाना जा सके।

व्यवहार में बदलाव लाने की इस पहल के तहत, थैंक्स-ए-डॉट ‘हग ऑफ लाइफ’ हॉट वॉटर बैग महिलाओं को दिया गया। यह एक ऐसा उपकरण है, जो महिलाओं को स्पर्श के ज़रिए किसी भी असामान्य गाँठ को पहचानने की आदत विकसित करने में मदद करता है। यह हॉट वॉटर बैग कार्यक्रम में शामिल महिलाओं को निलेश कुमार महादेव क्षीरसागर (आईएएस- जिला कलेक्टर, कांकेर) और रविंद्र शर्मा (चीफ- ब्रांड, कॉर्पोरेट कम्युनिकेशन एवं सीएसआर , एसबीआई लाइफ इंश्योरेंस) ने वितरित किया। 

इनके साथ  मनोज कुमार (स्टेट लीड- प्रदान),  हरेश मंडावी (सीईओ- जिला पंचायत, कांकेर), डॉ. आर. सी. ठाकुर (मुख्य चिकित्सा और स्वास्थ्य अधिकारी- स्वास्थ्य विभाग, कांकेर), डॉ. भावना सिरोही (सीनियर मेडिकल ऑन्कोलॉजिस्ट और मेडिकल डायरेक्टर, बाल्को मेडिकल सेंटर- नया रायपुर) समेत कई सम्मानित अतिथि मौजूद रहे। सभी की भागीदारी ने यह संदेश मजबूत किया कि महिलाओं की सेहत को सुरक्षित रखना और समुदायों को शुरुआती जाँच के लिए ज़रूरी साधन उपलब्ध कराना सभी की साझा ज़िम्मेदारी है।

कांकेर, छत्तीसगढ़ में हुई यह ज़मीनी गतिविधि एसबीआई लाइफ़ की हाल ही में भारतीय महिला क्रिकेट टीम के साथ की गई पहल पर आधारित है, जिसमें खिलाड़ियों ने भारत बनाम ऑस्ट्रेलिया वनडे मैच के दौरान खास पिंक थैंक्स-ए-डॉट जर्सी पहनी थी, ताकि पूरे देश का ध्यान सेल्फ-ब्रेस्ट एग्ज़ाम और शुरुआती पहचान के महत्व की ओर जाए। इस मैच-केंद्रित पहल के तहत एसबीआई लाइफ़ ने वादा किया था कि मैच में हर 50 डॉट बॉल पर 200 ‘हग ऑफ लाइफ’ हॉट वॉटर बैग (सेल्फ-एग्ज़ाम किट) ज़रूरतमंद महिलाओं को दिए जाएँगे। मैच में कुल 200 डॉट बॉल डाली गईं, इसलिए कुल 800 किटें प्रदान एनजीओ के माध्यम से छत्तीसगढ़ की वंचित महिलाओं को वितरित की जा रही हैं।

इस पहल के बारे में बात करते हुए एसबीआई लाइफ इंश्योरेंस के चीफ ऑफ ब्रांड, कॉर्पोरेट कम्युनिकेशन और सीएसआर श्री रविंद्र शर्मा ने कहा, “भारत जैसे विविध देश में महिलाओं का स्वास्थ्य और उनका सशक्त होना ही समाज की तरक्की की बुनियाद है। फिर भी, कई महिलाओं में ब्रेस्ट हेल्थ को लेकर बातचीत बहुत कम होती है, कभी झिझक की वजह से, तो कभी जानकारी की कमी के कारण। एसबीआई लाइफ की थैंक्स-ए-डॉट पहल के ज़रिए हमारा उद्देश्य यह है कि ‘ब्रेस्ट हेल्थ’ पर घरों में खुलकर बात हो और लोगों के व्यवहार में सकारात्मक बदलाव आए। प्रधान एनजीओ के साथ हमारी साझेदारी इसी साझा सोच को दिखाती है, जिसमें हम महिलाओं को जागरूकता और आत्मविश्वास दोनों देना चाहते हैं, ताकि वे अपनी सेहत के लिए समय पर कदम उठा सकें। हमें उम्मीद है कि यह प्रयास छत्तीसगढ़ के समुदायों में सेल्फ-एग्ज़ाम की आदत को और अधिक अपनाने और समझ बढ़ाने के लिए प्रेरित करेगा।”

इस पहल पर अपनी बात रखते हुए निलेश कुमार महादेव क्षीरसागर (आईएएस, जिला कलेक्टर, कांकेर, छत्तीसगढ़) ने कहा, “ब्रेस्ट कैंसर आज भी महिलाओं में होने वाले सबसे आम कैंसरों में से एक है, और इसकी समय रहते पहचान ही जीवन बचाने का सबसे प्रभावी तरीका है। एसबीआई लाइफ की ‘थैंक्स-ए-डॉट’ पहल हमारे ज़िले की महिलाओं में प्रिवेंटिव हेल्थकेयर को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। समुदाय तक सीधे जागरूकता पहुँचाकर और महिलाओं को व्यवहारिक जानकारी व ज़रूरी संसाधन देकर, ऐसे कार्यक्रम हमारी कम्युनिटी के स्वास्थ्य परिणामों में बड़ा सुधार ला सकते हैं।”

मनोज कुमार, स्टेट लीड, प्रदान एनजीओ ने कहा, “एसबीआई लाइफ की ‘थैंक्स-ए-डॉट’ पहल के साथ हमारी साझेदारी ने कांकेर की उन महिलाओं तक भी ब्रेस्ट हेल्थ की जागरूकता पहुँचाई है, जिन्हें अब तक सही जानकारी या शुरुआती जाँच का अवसर नहीं मिल पाता था। ग्रामीण इलाकों की कई महिलाओं के लिए भरोसेमंद जानकारी तक पहुँच बहुत सीमित होती है। ऐसे कार्यक्रम महिलाओं के लिए एक सुरक्षित और सहायक माहौल बनाते हैं, जहाँ वे सीख सकती हैं, सवाल पूछ सकती हैं और बिना झिझक अपनी सेहत पर खुलकर बात कर सकती हैं। इस तरह के प्रैक्टिकल वर्कशॉप्स न सिर्फ ज़रूरी जानकारी देते हैं, बल्कि कई तरह की सामाजिक झिझक भी दूर करते हैं और महिलाओं को अपनी सेहत के लिए सक्रिय कदम उठाने के लिए सक्षम बनाते हैं।”

2019 में शुरू हुई एसबीआई लाइफ़ की ‘थैंक्स-ए-डॉट’ पहल का उद्देश्य महिलाओं को सेल्फ-ब्रेस्ट एग्ज़ाम और शुरुआती पहचान के बारे में जागरूक करना और उन्हें ट्रेनिंग देना है। ‘हग ऑफ लाइफ’ हॉट वॉटर बैग, जिसमें 3डी गाँठें बनी हैं, महिलाओं को स्पर्श के ज़रिए प्रैक्टिकल तरीके से खुद जाँच च करने में मदद करता है, जिससे उनकी झिझक कम होती है और आत्मविश्वास बढ़ता है।

अपने 25वें वर्ष में, एसबीआई लाइफ इस पहल को और दूर तक पहुँचाने के लिए सार्थक साझेदारियों, समुदायों से जुड़ाव और लगातार जागरूकता बढ़ाने वाले प्रयासों के ज़रिए देशभर की महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।


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