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शिक्षा ही वह माध्यम है जिससे मिलती है जीवन में नई ऊंचाईयां : भूपेश बघेल

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज दंतेवाड़ा जिले के ’छू लो आसमान’ कार्यक्रम के तहत अखिल भारतीय इंजीनियरिंग प्रवेश परीक्षा में (जेईई) मेन्स में सफल 17 छात्र-छात्राओं से बातचीत की और उन्हें सफलता के लिए बधाई और शुभकामनाएं दी। इन छात्र-छात्राओं ने एनआईटी में प्रवेश के लिए मेरिट लिस्ट में स्थान प्राप्त किया है। वर्ष 2011 में जिला प्रशासन दंतेवाड़ा और एनएमडीसी के सहयोग से प्रारंभ किए गए इस कार्यक्रम की मदद से अब तक 845 छात्र-छात्राओं का चयन विभिन्न उच्च शिक्षा संस्थानों के लिए हो चुका है।

मुख्यमंत्री ने अपने निवास कार्यालय से वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए विद्यार्थियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि शिक्षा ही वह माध्यम है जिससे जीवन के हर क्षेत्र में नई ऊंचाईयां हासिल की जा रही है। आप लोग दूरस्थ अंचलों से हैं और विपरित परिस्थितियों में अपने दृढ़ संकल्प से ’छू लो आसमान’ कार्यक्रम के माध्यम से यह सफलता प्राप्त की है। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर ’छू लो आसमान’ कार्यक्रम में बीजापुर और सुकमा के आदिवासी बच्चों के लिए अगले सत्र से 40 सीटें बढ़ाने, चयनित विद्यार्थियों को उनकी आवश्यकता के अनुरूप आर्थिक सहायता उपलब्ध कराने और एक छात्र हेमंत कुमार आर्य की ऑखों का पूरा इलाज कराने की घोषणा की। बघेल ने कहा कि प्रदेश में स्वामी आत्मानंद इंग्लिश मीडियम स्कूल योजना के अंतर्गत जिलों में 53 स्कूल प्रारंभ किए गए हैं। आने वाले वर्षो में विकासखण्ड स्तर पर इंग्लिस मीडियम स्कूल प्रारंभ किए जाएंगे।

इस अवसर पर कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे, वन मंत्री मोहम्मद अकबर, उद्योग मंत्री कवासी लखमा, संसदीय सचिव शिशुपाल सोरी, विधायक अनूप नाग, छत्तीसगढ़ खनिज विकास निगम के अध्यक्ष गिरीश देवांगन, एनएमडीसी के सलाहकार दिनेश श्रीवास्तव उपस्थित थे। वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से कलेक्टर दंतेवाड़ा दीपक सोनी और एनएमडीसी के अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक सुमित देव शामिल हुए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि ’छू लो आसमान’ कार्यक्रम से जुड़ें बच्चों की सफलता ने यह साबित कर दिखाया है कि हमारे बस्तर इलाके में प्रतिभा की कमी नही है। यदि अवसर मिले तो हमारे बच्चे महानगरों के बच्चों को भी मात दे सकते हैं। अभी तक बस्तर की पहचान उसकी प्राकृतिक छटा, वहां की अनोखी जीवन शैली और खनिजों से भरपूर खदानों से होती थी। अब शिक्षा के नाम से भी बस्तर को जाना जाएगा। बघेल ने इस अवसर पर सफल विद्यार्थियों दंतेवाड़ा चेरपाल के संतकुमार कुंजाम, सुकमा की उपासना नेगी और कल्याणी नेताम और दंतेवाड़ा टेकनार के मनोज कुमार तथा छू लो आसमान की शिक्षिका सुकृति शर्मा से बात कर उनके अनुभव जाने। बच्चों ने गुरूजनों, मुख्यमंत्री, जिला प्रशासन, दंतेवाड़ा और अपने माता-पिता को अपनी सफलता का श्रेय दिया।




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