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नवरात्र पर्व के संबंध में निम्नानुसार निर्देश ....ज्योति दर्शन हेतु दर्शनार्थियों एवं अन्य व्यक्तियों का प्रवेश पूर्णतः वर्जित

नोबल कोरोना वायरस के संक्रमण के नियंत्रण एवं रोकथाम को दृष्टिगत रखते हुए तथा आगामी माह में कारोना पॉजिटिव प्रकरणों की संख्या में वृद्धि की संभावना है, जिसे रोकने एवं नियंत्रण में रखने हेतु सभी संबंधित उपाय अमल में लाया जाना उचित एवं आवश्यक हो गया है, जिसे दृष्टिगत रखते हुए नवरात्र पर्व के संबंध में निम्नानुसार निर्देश प्रसारित किया जाता है
: 1 मूर्ति की अधिकतम उंचाई 08 फीट होनी चाहिए परन्तु पी०ओ०पी० (प्लास्टर ऑफ परिस) से निर्मित मूर्ति बिक्री एवं स्थापित किया जाना प्रतिबंधित रहेगा ।

2 स्थापना वाले पंडाल का आकार 15 x 15 फीट से अधिक न हो । पंडाल के सामने कम से कम 500 वर्गफीट खली जगह हो ।

3 4 पंडाल के सामने 500 वर्गफीट खुली जगह में कोई भी सड़क अथवा गली का हिस्सा प्रभावित में हो

5 मंदिर प्रांगण के भीतर नियत स्थान पर सभी ज्योति का प्रज्वलन किया जायेगा, उक्त नियत स्थान पर अपन शमन सुरक्षा के सभी उपाय किया जाना अनिवार्य होगा ज्योति दर्शन हेतु दर्शनार्थियों एवं अन्य व्यक्तियों का प्रवेश पूर्णतः वर्जित रहेगा । ज्योति प्रज्जवलन को

6 जिम्मेदारी केवल मंदिर प्रबंधन समिति की होगी ।


7- मंडप/पंडाल के सामने दर्शनार्थियों के बैठने हेतु पृथक से पंडाल नहीं की जाय। दर्शनार्थियों एवं वशंका के एवं आयोजकों के बैठने हेतु कुर्सिया भी नहीं लगाई जाएगीं । अनावश्यक भीड़ भाड़ से बचा जाए।

8 किसी भी एक समय में मंडप एवं सामने मिलाकर 50 दर्शनार्थियों / व्यक्ति से अधिक संख्या न हो मूर्ति दर्शन अथवा पूजा में शामिल होने वाला कोई भी व्यक्ति बिना मास्क के नहीं जाएगा। ऐसा पाए जाने पर संबंधित एवं समिति के विरूद्ध वैधानिक कार्यवाही की जावेगी।

9 कोराना वायरस की तीसरी लहर की संभावना को देखते हुए रास गरबा डाडिया का आयोजन बृहद रूप से नहीं किया जावे । आयोजन स्थल की क्षमता का 50 प्रतिशत अथवा अधिकतम 100 व्यक्ति हो सम्मिलित हो सकेंगें ।

10- मूर्ति स्थापित करने वाले व्यक्ति अथवा समिति एक रजिस्टर संधारित करेगी जिसमें दर्शन हेतु आने वाले सभी व्यक्तियों का नाम पता मोबाईल नम्बर दर्ज किया जावेगा ताकि उनके से कोई भी व्यक्ति सकामेत होने पर कांटेक्ट टेसिंग किया जा सके।

11- मूर्ति स्थापित करने वाले व्यक्ति अथवा समिति द्वारा सैनेटाईजर थर्मल स्क्रिनिंग आक्सीमीटर हंडवाश एवं क्यू (कतार) मेनेजमेंट सिस्टल की सुव्यवस्थित व्यवस्था की जावेगी। थर्मल स्क्रिनिंग में बुखार पाए जाने अथवा कोरोना से संबंधित कोई भी सामान्य या विशेष लक्षण पाए जाने पर पंडाल में प्रवेश नहीं देने की जिम्मेदारी समिति की होगी ।


12 व्यक्ति अथवा समिति द्वारा फिजिकल डिस्टेन्सिंग आगमन एवं प्रस्थान की पृथक से व्यवस्था बास बस्सी में बेरिकेटिंग कराकर कराया जाएगा । कन्टेनमेंट जोन में मूर्ति स्थापना की अनुमति नहीं होगी। यदि पूजा की अवधि के दौरान भी उपरोक्त क्षेत्र में कन्टेनमेंट क्षेत्र घोषित हो जाता है तो तत्काल पूजा समाप्त करनी होगी। 14- मूर्ति स्थापना के दौरान विसर्जन के समय अथवा विसर्जन के पश्चात किसी भी प्रकार के भाज, भंडारा की अनुमति नहीं होगी ।

15- ध्वनि विस्ताकर यंत्र जैसे- धुमाल / बॉस बैंड तथा अन्य वाद्य यंत्र जिसका पीएमपीआ 200 वॉट से अधिक न हो के बजाने की अनुमति स्थापित पण्डाल अथवा नियत स्थल के 100 मीटर की परिधि के अन्तंगत के लिए होगी । विसर्जन के साथ साथ अनुमति होगी

16- मूर्ति स्थापना एवं विसर्जन के दौरान प्रसाद, चरणामृत या कोई भी खाद्य एवं पेय पदार्थ विरतण की अनुमति नहीं होगी ।

17- मूर्ति विसर्जन के लिए एक से अधिक वाहन की अनुमति नहीं होगी एवं मूर्ति विर्जन के लिए एक पिक-अप टाटाएस (छोटा हाथी) से बड़े वाहन का उपयोग प्रतिबंधित होगा

18- मूर्ति विसर्जन के वाहन में किसी प्रकार के अतिरिक्त साज-सज्जा झांकी की अनुमति नहीं होती 19- मूर्ति विसर्जन के लिए अधिकतम 10 व्यक्ति को ही अनुमति होगी।

20- मूर्ति विसर्जन के लिए प्रयुक्त वाहन पंडाल से लेकर विसर्जन स्थल तक रास्ते में कहीं राकन की अनुमत नहीं होगी । विसर्जन के मार्ग में कहीं भी स्वागत, भण्डारा, प्रसाद वितरण पंडाल लगाने की अनुमति नहीं होगी ।

21- मूर्ति एवं पूजन सामग्रीयों को विसर्जन स्थानीय निकाय - नगर निगम / नगर पालिका परिषद नगर पंचायत तथा ग्राम पंचायतों द्वारा निर्धारित विसर्जन कुंड में ही किया जाएगा।

22- विसर्जन के लिए नगर निगम / नगर पालिक परिषद / नगर पंचायत / ग्राम पंचायत द्वारा नैधारित त (मार्ग) तिथि एवं समय का पालन करना होगा। शहर के व्यस्त मार्गों से मूर्ति विसर्जन वाहत को ले जाने की अनुमति नहीं होगी यातायात पुलिस / स्थानीय पुलिस द्वारा इस हेतु निर्धारित मार्ग का उपयाग एवं दिशा निर्देश का पालन करना होगा।


23- सूर्यास्त के पश्चात एवं सूर्योदय के पहले विसर्जन के किसी भी प्रक्रिया की अनुमति नहीं होगी।

24- उपरोक्त शर्तों के साथ किसी परिसर के अंदर या सार्वजनिक स्थान पर मूर्ति स्थापित की जाती है तो कम से कम 03 दिवस के पूर्व स्थानीय निकाय नगर पालिक निगम, नगर पालिक परिषद नगर पंचायत के जोन / वार्ड कार्यालय में निर्धारित शपथपत्र मय आवेदन देना होगा एवं अनुमति प्राप्त होने के उपरांत ही मूर्ति स्थापित की जा सकेगी किन्तु यह अनुमति किसी भी ऐसे स्थान पर प्रदान नहीं की जाएगी।

25 पंडाल स्थापित करने एवं ध्वनि विस्तारक यंत्र उपयोग करने हेतु 3 दिन पूर्व शपथ पत्र - मय आवेदन संबंधित क्षेत्र के अनुविभागीय अधिकारी कार्यालय में देना होगा एवं अनुमति प्राप्त होने के उपरांत ही मूर्ति स्थापित की जाएगी। अनुमति ऐसे किसी भी स्थान पर नहीं दी जाएगी जहाँ सार्वाजनिक निस्तार एवं यातायात बाधित होने की संभावना हो।

इन सभी शर्तों के अतिरिक्त भारत सरकार स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय छत्तीसगढ़ शासन स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग, छत्तीसगढ़ शासन, सामान्य प्रशासन विभाग तथा जिला प्रशासन दुर्गं द्वारा समय समय पर जारी निर्देश / आदेश का पालन अनिवार्य रूप से किया जाना होगा ।

यह निर्देश तत्काल प्रभावशील होगा तथा निर्देश का उल्लंघन करने पर एपीडेमिक डिसीज एक्ट एवं विधि अनुकूल अन्य सुसंगत धाराओं के तहत कठोर कार्यवाही की जाएगी।




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