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जेल में 140 कैदी HIV पॉजिटिव पाए गए, स्वास्थ्य विभाग में हड़कंप, जेल प्रशासन निश्चिंत

गाजियाबाद की डासना जेल  में 140 कैदियों को एचआईव और 17 को टीबी होने का मामला सामने आया है। खुद डासना जेल के सुपरिन्‍टेंडेंट ने इसकी पुष्टि की है। सुपरिन्‍टेंडेंट एके सिंह ने इसे रूटीन जांच बताते हुए कहा है कि इसमें घबराने जैसी बात नहीं है। कैदी इंजेक्‍शन से नशा करने के आदी होते हैं इसलिए उनमें एचआईवी फैलता है।

गुरुवार को एके सिंह ने बताया, गाजियाबाद की डासना जेल में बंद 140 कैदियों में एचआईवी की पुष्टि हुई है। वहीं, टीबी के 17 मरीजों की भी पुष्टि हुई है। जेल की क्षमता 1704 कैदियों की है, जबकि जिला जेल में 5500 कैदी बंद हैं।

उन्‍होंने आगे कहा कि, इस जांच से जो बात सामने आई है उससे घबराने या चिंता करने की कोई बात नहीं है। जब भी कोई कैदी जेल आता है तो उसका एचआईवी टेस्ट कराया जाता है। ये एचआईवी पॉजिटिव कैदी आमतौर पर सीरिंज के माध्यम से ड्रग्स लेते हैं जो एचआईवी फैलाने का कारण है।

सूत्रों के अनुसार, एचआईवी संक्रमित कैदियों को इलाज के लिए एड्स कंट्रोल सोसाइटी को भेज दिया गया है। इसके अलावा टीबी के मरीजों को भी आइसोलेशन में रखा गया है। एड्स एक जानलेवा बीमारी है और इसके दूसरे कैदियों में भी फैलने का खतरा बना रहता है।

पिछले कुछ समय से यूपी की जेलों में एड्स के मामले बढे़ हैं। एक मीडिया र‍िपोर्ट के अनुसार, इस साल जुलाई में यूपी की जेलों में करीब 356 एड्स के मरीज थे। जुलाई में ही सहारनपुर की जेल में 23 कैदी एचआईवी पॉजिटिव बताए गए। इसके अलावा सितंबर में बाराबंकी जेल में 26 कैदी एड्स से ग्रस्‍त पाए गए थे।




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