CG : मुझे सदन का नियम मत सिखाओ, तो मंत्री जायसवाल बोले - मैं भी दो बार का विधायक हूं, पढ़िए पूरा मामला
रायपुर। छत्तीसगढ़ विधानसभा का शीतकालीन सत्र आज से शुरू हो गया है। नवा रायपुर में बने नए विधानसभा भवन में यह पहला सत्र है। सदन के पहले दिन की कार्यवाही की शुरुआत में वित्त मंत्री ओपी चौधरी ने विजन डॉक्यूमेंट 2047 पर चर्चा की। जिस पर बीजेपी के सीनियर विधायक अजय चंद्राकर ने सवाल उठाते हुए कई मुद्दों पर प्रश्न चिन्ह लगा दिया। इस दौरान अजय चंद्राकर की बातों पर मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने आपत्ति जतायी। जिस पर चंद्राकर ने पलटवार करते हुए मंत्री जायसवाल को कहा कि… मुझे सदन का नियम मत सिखाओ।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ के नवा रायपुर में बने विधानसभा भवन में शीतकालीन सत्र का आज से शुभारंभ हुआ। आगामी 17 दिसंबर तक चलने वाले इस सत्र के पहले ही दिन जहां कांग्रेस ने इसका बहिष्कार किया। वहीं सदन में वित्त मंत्री ओपी चैधरी ने विजन डॉक्यूमेंट 2047 पर चर्चा की । चर्चा के दौरान मंत्री ओपी चौधरी ने सदन को संबोधित करते हुए कहा कि छत्तीसगढ़ में बना एल्यूमिनियम चंद्रयान, मंगल यान में लगा है, तेजस फाइटर से लेकर कई रॉकेट में लगे हैं। यहां बनी रेल पटरी देशभर में लगी है। इसके साथ ही उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह से मांग करते हुए कहा कि विधानसभा में प्रोजेक्टर लगवाएं ताकि ऑडियो, विडियो, ग्राफ से अच्छे प्रेजेंटेशन दिया जा सके।
विधायक अजय चंद्राकर ने विजन डॉक्यूमेंट 2047 पर उठाये सवाल, कह दी ये बड़ी बात !
वित्त मंत्री ओपी चौधरी के बाद विजन डॉक्यूमेंट 2047 पर चर्चा के लिए विधायक अजय चंद्राकर को आमंत्रित किया गया। अजय चंद्राकर ने सदन को संबोधित करते हुए अंजोर विजन पर सवाल उठाए। उन्होने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि विजन डॉक्यूमेंट 2047 में आपने गरीबी उन्मूलन पर बात नहीं की, वूमेन इंपॉवर को छोड़ दिया, गरीबी उन्मूलन को स्पर्श नहीं किया, आपने लॉ एंड ऑर्डर को स्पर्श नहीं किया। अजय चंद्राकर ने सवाल उठाते हुए कहा कि यदि नीतियां बनती है, तो रिफ्लेक्ट होनी चाहिए।
चंद्राकर ने सदन को संबोधित करते हुए कहा कि….पिछले पांच साल में ये स्पष्ट नहीं हो पाया कि रोजगार की परिभाषा क्या है ? सरकार ये तय करे कि रोजगार इसको माना जाए, ये छत्तीसगढ़ के लिए जरूरी है। कृषि के क्षेत्र में चर्चा करते हुए चंद्राकर ने कहा कि सिंचाई को आपने 2023-24 के आर्थिक सर्वेक्षण 37 प्रतिशत बताया। वहीं 2024-25 के आर्थिक सर्वेक्षण में सिंचाई 3 प्रतिशत घटकर 34 प्रतिशत हो गयी। अब आप ये बताइए, अरबों रुपए खर्च हुए वो कहां गए ? सिंचाई का प्रतिशत घटा कैसे ? और सिंचाई का प्रतिशत घट रहा है तो हमारा योगदान बराबर कैसे रहा ?
बीज उत्पादन और दुग्ध और चारा उत्पादन को लेकर उठाये गंभीर सवाल
अजय चंद्राकर ने सदन में बीज उत्पादन को लेकर सवाल उठाये। उन्होने कहा कि…..हम किसी भी तरह की बीज उत्पादन में आत्मनिर्भर नहीं हैं। दुग्ध उत्पादन में हमारा योगदान सिर्फ 6 से 7 प्रतिशत के आसपास है। चारा उत्पादन का कोई प्रावधान ही नहीं है। एलाइड सेक्टर में हम इतने कमजोर, तो हमारी नीति क्या है ? दुग्ध, अंडा, मधुमक्खी पालन में काम करने की जरूरत है।
सदन को संबोधित करते हुए अजय चंद्राकर ने अपनी ही सरकार के मंत्री पर हमला करते हुए कहा कि 97 प्रतिशत लोग के लिए आपको नीति बनानी होगी। प्रदेश में क्षेत्रीय वित्तीय असंतुलन बड़ा मुद्दा है, इसे कैसे दूर करेंगे ? रायगढ़, कोरबा, दंतेवाड़ा में ढेरो फंड के पैसे है। बाकी जिलों के लिए पैसे कैसे आयेंगे ?
मुझे सदन का नियम मत सिखाओ - चंद्राकर
वहीं सदन में अजय चंद्राकर की बातों पर स्वास्थ्य मंत्री श्याम बिहारी जायसवाल ने खड़े होकर अध्यक्ष से आपत्ती जताई। मंत्री जायसवाल ने चंद्राकर से कहा कि वे व्यक्तिगत आरोप ना लगाएं। साथ ही उन्होंने मांग की कि आरोप लगाने वाले अंश को विलोपित किया जाए। मंत्री जायसवाल की इस आपत्ति पर अजय चंद्राकर ने जवाब देते हुए कहा कि…. मुझे सदन का नियम मत सिखाओ। इसके जवाब में मंत्री जायसवाल ने कहा कि मैं भी दो बार का विधायक हूं, मुझे भी नियम-प्रक्रिया मालूम है।