
बागबाहरा : महिला समुहो से फायनेंस कंपनी की राशि व कंपनी के लॉकर से रुपये गबन करने का आरोप, कर्मचारी फरार.
बागबाहरा अन्नूपूर्णा फाइनेंस प्राइवेट लिमिटेड के एक कर्मचारी द्वारा विभिन्न महिला समुहो से फायनेंस कंपनी के नाम पर प्राप्त राशि व कंपनी के लॉकर से रुपये गबन करने की शिकायत दर्ज कराई गई है.
बागबाहरा अन्नूपूर्णा फाइनेंस प्राइवेट लिमिटेड के शाखा प्रबंधक विवेक कुमार यादव ने बताया कि शाखा बागबाहरा में कार्य करने वाले कर्मचारी मलिक राम नायक के द्वारा विभिन्न महिला समुहो से फायनेंस कंपनी के नाम पर कुल रकम 3 लाख 57 हजार 839 रूपये प्राप्त कर गबन किया गया है.
इसके अतिरिक्त मलिक राम नायक के द्वारा शाखा बागबाहरा के लॉकर में रखे 7 लाख 29 हजार 004 रूपये का भी उसके द्वारा गबन किया जाने का संदेह है, जिसके संबंध में विभागीय कार्यवाही जांच पश्चात पुलिस में इसकी शिकायत की गई है.
शिकायत पर अपराध धारा 316(5) BNS का अपराध घटित करना पाये जाने पर अपराध पंजीबध्द कर विवेचना में लिया गया है.
विवेक कुमार यादव ने बताया कि मलिकराम नायक 1 नवम्बर 2022 से विकास कर्मचारी के पद पर कार्यरत था, जिसके द्वारा विभिन्न महिला समूह सदस्यो की धनराशि फिल्ड से कलेक्शन करकें शाखा कार्यालय में जमा नही की गई तथा उसका उपयोग स्वंय के कार्य के लिए किया गया. तथा शाखा कार्यालय में उसका विवरण भी नही दिया गया ना ही उक्त राशि शाखा कार्यालय मे जमा कराई गई.
महिला समूह के सदस्यों के साथ मलिकराम नायक के द्वारा धोखाधडी कर धनराशि का गबन किया गया है। जिसका आवेदन महिला समूह सदस्यो के द्वारा नामजद लिखित दिया गया है तथा विभागीय जॉच दल के द्वारा भी इसकी पुष्टि की गई है.
इसके अवलावा शाखा कार्यालय मे रखे हुऐ लॉकर मे सभी कर्मचारियों के द्वारा कलेक्शन की कुल धनराशि 8 लाख 56 हजार 944 रूपये 13 मार्च 2025 से 16 मार्च 2025 तक जमा था, जिसकी एक चॉबी मलिकराम नायक व दूसरी चॉबी शाखा प्रबंधक के पास रहता था.
मुझ शाखा प्रबंधक के पास चॉबी कहा रहती थी उसकी जानकारी मलिकराम नायक को थी. 17 मार्च 2025 को सुबह 11 बजे शाखा प्रबंधक के द्वारा धनराशि को बैंक मे जमा करने हेतु मालिकराम नायक को मोबाईल से फोन किया गया परन्तु उसका मोबाईल फोन बंद पाया गया.
बाद मे अगले दिन 18 मार्च 2025 को फिर से फोन लगाया गया परन्तु फिर भी बंद पाया गया तब सभी कर्मचारियों की उपस्थिति मे लॉकर को तोड़कर खोला गया । जिसमे 7 लाख 29 हजार 004 रूपये कम पाया गया. जिसके संबध में संदेह है कि उपरोक्त धनराशि का गबन भी मलिकराम नायक के द्वारा किया गया है.